मंदसौरमध्यप्रदेश

समाचार मध्यप्रदेश मंदसौर 17 जून 2025 मंगलवार

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मानसून का इंतजार खत्म आज मानसून ने प्रदेश में दस्तक दी

दक्षिण-पश्चिम मानसून बड़वानी, खरगोन, खंडवा और बुरहानपुर के रास्ते प्रदेश में पहुंचा। इस बार मानसून 1 दिन लेट है। पिछली बार 6 दिन की देरी से 21 जून को आया था। प्रदेश में मानसून के प्रवेश की सामान्य तारीख 15 जून है। चूंकि, इस बार देश में मानसून 8 दिन पहले ही आ गया था। इसलिए संभावना थी कि एमपी में यह जून के पहले सप्ताह में ही आ जाएगा, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।

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जनगणना के लिए अधिसूचना जारी

▪️केंद्र सरकार ने 2027 में जनगणना करवाने के संबंध में जारी की अधिसूचना

◆ जनगणना का दूसरा चरण

28 फरवरी 2027 तक पूरा हो जाएगा

◆ 01 फरवरी 2027 तक

जनगणना का पहला चरण पूरा होगा

◆ जनगणना के साथ ही जातीय जनगणना भी होगी

◆ पूरे देश में दो चरण में होगी जनगणना

◆ 2021 में कोविड की वजह से नहीं हुई थी जनगणना

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मुख्यमंत्री ने जिले के 83 श्रमिक परिवारों को संबल योजना अंतर्गत 1 करोड़ 86 लाख का हितलाभ प्रदान किया

मंदसौर 16 जून 25/ जिला श्रम अधिकारी श्री प्रकाश दौड़वे द्वारा बताया गया कि मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने ग्राम बेलखेड़ा, बरगी जिला जबलपुर से मुख्यमंत्री जनकल्याण (संबल 2.0) योजना अंतर्गत 6 हजार 821श्रमिक परिवारों को राशि रु 150 करोड़ की अनुग्रह सहायता राशि का वितरण सिंगल क्लिक के माध्यम से किया गया है।

मंदसौर जिले के कुल 83 श्रमिक परिवारों को राशि रु 1.86 करोड़ का वितरण किया गया है। जिला स्तर पर कार्यक्रम एनआईसी कक्ष में किया गया।

कक्ष से सभी ने मुख्यमंत्री के लाइव उद्बोधन को देखा और सुना। इस दौरान श्रम विभाग के अधिकारी, कर्मचारी बड़ी संख्या में हितग्राही मौजूद थे।

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मुख्‍य चिकित्‍सा एवं स्‍वास्‍थ्‍यय अधिकारी ने मलेरिया रथ को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया

मंदसौर 16 जून 2025/ जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. दीपा पाठक द्वारा बताया गया कि मुख्‍य चिकित्‍सा एवं स्‍वास्‍थ्‍य अधिकारी डॉ गोविन्‍द सिंह चौहान एवं जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉ.श्यामलाल सूर्यवंशी द्वारा हरी झंडी दिखाकर रवाना किया । यह मलेरिया प्रचार प्रसार रथ मंदसौर शहर एवं जिले के समस्त विकासखंड़ों के हाईरिस्क ग्रामों में मलेरिया से बचाव/आमजन में जनजागृति हेतु माईकिंग, पोस्टर, पेम्पलेट वितरण बुखार रोगी मिलने पर ब्लड स्लाइड बनाई जाना आदि किया जाकर भ्रमण करेगा।

जिला मलेरिया अधिकारी डॉ.दीपा पाठक द्वारा बताया गया कि वर्षा काल के मौसम में, जल जमा होने के कारण मच्छर पैदा होते हैं, इनके काटने से मलेरिया एवं डेंगू जैसे रोग होने की संभावना है। इसलिए सभी को इससे बचाव के लिए शाम को घर में नीम का धुआं करें, मच्छरदानी का उपयोग करें, नालियों में जला हुआ तेल डालें, कूलर, पानी की टंकी तथा टायरों में जमा पानी को सप्ताह में एक बार खाली करें। जिससे कि मच्छर के लार्वा पैदा नहीं होंगे। यदि लार्वा नहीं होंगे तो मच्छर नहीं बन पाएंगे और इन रोगों से बचा जा सकेगा। इस अवसर पर मलेरिया विभाग एवं एन्टी लार्वा स्कीम और जिला चिकित्‍सालय के कर्मचारी उपस्थित रहे।

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जिले में अब तक 23.0 मि.मी. औसत वर्षा दर्ज

मंदसौर 16 जून 25/ जिले में इस वर्ष अबतक औसतन 23.0 मि.मी. वर्षा दर्ज की गयी है। जबकि पिछले 24 घन्टों में मंदसौर जिले में 3.1 मिमी वास्तविक वर्षा दर्ज की गई है। पिछले 24 घन्टों में मंदसौर में 0 मि.मी., सीतामऊ में 0 मि.मी. सुवासरा में 15.6 मि.मी., गरोठ में 1.0 मि.मी., भानपुरा में 0 मि.मी., मल्हारगढ़ मे 0 मि.मी., धुधंड़का में 0 मि.मी., शामगढ़ में 7.2 मि.मी., संजीत में 2.0 मि.मी., कयामपुर में 0 मि.मी. एवं भावगढ़ में 9.0 मि.मी वास्तविक वर्षा दर्ज की गई है।

विगत 1 जून से अबतक वर्षामापक केन्द्र मंदसौर में 13.0 मि.मी., सीतामऊ में 4.2 मि.मी. सुवासरा में 19.6 मि.मी., गरोठ में 32.4 मि.मी., भानपुरा में 84.2 मि.मी., मल्हारगढ़ मे 9.0 मि.मी., धुधंड़का में 18.0 मि.मी., शामगढ़ में 22.6 मि.मी., संजीत में 5.0 मि.मी., कयामपुर में 20.2 मि.मी. एवं भावगढ़ में 25.0 वास्तविक वर्षा दर्ज की गई है। गांधीसागर बांध का जल स्‍तर अब तक 1287.36 फीट है।

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नवीन राष्ट्रीय पशुधन अंतर्गत बैंकेबल योजना हेतु आवेदन करें

अधिक जानकारी के लिए विभाग की वेबसाइट www.dahd.nic.in तथा mpdah.gov.in का अवलोकन करे

मंदसौर 16 जून 25/ उप संचालक पशुपालन एवं डेयरी विभाग मंदसौर द्वारा बताया गया कि भारत सरकार के मत्स्य, पशुपालन एवं डेयरी मंत्रालय के अधीन पशुपालन एवं डेयरी विभाग द्वारा नवीन केंद्रीय प्रवर्तित योजना – राष्ट्रीय पशुधन मिशन जिसका मुख्य उद्देश्य पोल्‍ट्री,भेड़-बकरी पालन,चरी एवं चारा विकास में उद्यमिता विकास के साथ-साथ भेड़-बकरी की नस्ल सुधार तथा चारा उत्पादन में सुधार लाना है। योजना की विस्तृत मार्गदर्शिका भारत सरकार के पशुपालन एवं डेयरी विकास विभाग की वेबसाइट www.dahd.nic.in तथा mpdah.gov.in पर उपलब्ध है।

योजना के लिए ग्रामीण कुक्कुट उद्यमिता मॉडल लो इनपुट टेक्नॉलॉजी वाले कम से कम 1 हजार पेरेंट पक्षी का फॉर्म, प्रति सप्ताह 3 हजार हेचिंग अंडा से सेटिंग की क्षमता वाली हेचरी के साथ-साथ प्रति सप्ताह 2 हजार चूजों की बूडिंग की क्षमता वाली नर्सिंग यूनिट (मदर यूनिट) की स्थापना हेतु। भेड़/बकरी प्रजनन इकाई 100 मादा व 5 नर, 200 मादा व 10 नर, 300 मादा व 15 नर, 400 मादा व 20 नर 500 मादा व 25 नर की इकाई स्थापना हेतु। चारा उत्पादन इकाई – साइलेज, फॉडर ब्लॉक निर्माण इकाई तथा संपूर्ण मिश्रित आहर प्लांट की स्थापना हेतु है।

परियोजनाओं का विस्तृत विवरण, आवेदन – पत्र, पात्रता तथा अनुदान हेतु पात्र मशीन व उपकरणों की सूची,अभिरुचि की अभिव्यक्ति की अवधि,प्राप्त प्रस्तावों के परीक्षण,अनुदान राशि की उपलब्धता,प्राप्त प्रस्ताव की स्वीकृति/अस्वीकृति के अधिकारी संबंधित जानकारी विभाग की वेबसाइट mpdah.gov.in पर उपलब्ध है।

पात्र इच्‍छुक हितग्राही को अपना आवेदन ऑनलाइन पोर्टल nlm.udyamimitra.in में उपलब्ध आवेदन पत्र के माध्यम से भरकर प्रपत्र 3 पर दर्शाए डॉक्यूमेंट को अपलोड करना होगा। लिंक सक्रीय नहीं होने की स्थिति में प्रपत्र 3 पर उपलब्ध आवेदन भरकर सीधे राज्य क्रियान्वयन एजेंसी (संचालनालय पशुपालन एवं डेयरी विभाग मध्य प्रदेश भोपाल) को दिया जा सकता है।

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प्रधानमंत्री आवास योजना–शहरी 2.0 के अंतर्गत विशेष अभियान “मिशन सबको आवास”

पात्र हितग्राही 30 जून तक ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे

मंदसौर 16 जून 25/ प्रधानमंत्री आवास योजना–शहरी 2.0 के अंतर्गत पात्र हितग्राहीयों को त्वरित लाभ प्रदान करने हेतु विशेष अभियान “मिशन सबको आवास” 30 जून 2025 तक प्रधानमंत्री आवास योजना–शहरी 2.0 के अंतर्गत पात्र हितग्राहीयों को त्वरित लाभ प्रदान करने हेतु विशेष अभियान “मिशन सबको आवास” प्रारंभ किया गया है, जिसके प्रथम चरण में 30 जून 2025 तक प्राप्त सभी ऑनलाइन आवेदनों को लाभ प्रदान किया जाना लक्षित है। पात्र हितग्राही

https://pmaymis.gov.in/PMAYMIS2_2024/PmayDefault.aspx लिंक से आवेदन कर सकते है।

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स्कूल शिक्षा में संस्कृत और संस्कृति का उदय

मंदसौर 16 जून 25/ प्रदेश में स्कूल शिक्षा में नई शिक्षा नीति वर्ष 2020 में संस्कृत के व्यापक प्रसार की अनुशंसा की गई है। इसके अनुरूप मध्यप्रदेश राज्य मुक्त स्कूल शिक्षा बोर्ड एवं महर्षि पतंजलि संस्कृत संस्थान ने 53 चयनित एजुकेशन फॉर ऑल (ईएफए) विद्यालय में कक्षा एक के पूर्व एलकेजी एवं यूकेजी के स्थान पर अरूण एवं उदय कक्षाएं प्रारंभ की हैं। इन कक्षाओं का माध्यम संस्कृत किया गया है।

संस्कृत भाषा एक बीज भाषा है, जो सभी भाषाओं की जननी है। जो विद्यार्थी प्रारंभ से संस्कृत बोलते हैं, वह बाद के वर्षों में विश्व की किसी भी भाषा को बोलने की क्षमता रखते हैं। बच्चों के मस्तिष्क के उचित विकास और शारीरिक वृद्धि को सुनिश्चित करने के लिये उसके आरंभिक 6 वर्षों को महत्वपूर्ण माना गया है।

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सर्प-दंश से बचाव के लिए जिलों को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी

अस्पतालों में एंटी-वेनम व उपचार की समुचित व्यवस्था और हेल्पलाइन नंबर जारी करने के निर्देश

मंदसौर 16 जून 25/ राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण गृह विभाग ने वर्षाकाल के दृष्टिगत सर्पदंश की घटनाओं के नियंत्रण एवं बेहतर प्रबंधन के लिए सभी जिलों के कलेक्टर को आवश्यक तैयारी एवं जन जागरूकता सुनिश्चित करने के लिये निर्देश जारी किये हैं। सर्प-दंश स्थानीय आपदा घोषित है, इसके प्रभावी प्रबंधन के लिए हर ज़िले के लिए 23.17 लाख रुपए की राशि स्वीकृत की गई है। इस राशि का उपयोग प्रशिक्षण, जन-जागरूकता, मॉक ड्रिल, उपकरण की व्यवस्था और प्रचार-प्रसार जैसे कार्यों में किया जाएगा।

वर्षाकाल में सर्पदंश की संवेदनशीलता

वर्षा ऋतु में सांपों के प्राकृतिक आवासों में जलभराव हो जाने से वे मानव बस्तियों की ओर आ जाते हैं, जिससे सर्प-दंश की घटनाएं बढ़ जाती हैं। विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्रों, खेतों, नदी किनारे एवं बस्तियों की परिधियों में यह खतरा अधिक होता है। उक्त के प्रति लोगों में जागरूकता लाना, तथा प्रशासनिक सतर्कता बढ़ाना अति आवश्यक है। सभी जिलों को निर्देशित किया गया है कि वे पंचायत एवं शहरी वार्ड स्तर पर जागरूकता अभियान संचालित करें। स्कूलों, आंगनबाड़ियों और सामुदायिक स्थलों पर जागरूकता सत्र आयोजित हों। सोशल मीडिया, रेडियो, दीवार लेखन, बैनर-पोस्टर एवं लोक-प्रदर्शन (नुक्कड़ नाटक आदि) के माध्यम से सूचना का व्यापक प्रसार किया जाए। निर्देशों में कहा गया है कि सर्पदंश के प्रति संवेदनशील इलाकों में स्थानीय युवाओं को प्रशिक्षित कर ‘सर्प मित्र’, सिविल डिफेंस वालंटियर्स एवं स्नेक-कैचर्स की टीम बनाई जाए।

स्नेक-कैचर्स का डाटाबेस करें तैयार, हेल्पलाइन नंबर करें जारी

शासन द्वारा यह सुनिश्चित करने को कहा गया है कि सभी जिलों में ‘स्नेक-कैचर्स’ और ‘सर्प मित्रों’ का विस्तृत डाटाबेस तैयार कर, उन्हें पंचायत/वार्ड स्तर पर नियुक्त किया जाए। सर्प मित्रों के हेल्पलाइन नंबर जारी कर व्यापक प्रचार भी किया जाए। इन मित्रों को स्नेक रेस्क्यू किट, फर्स्ट एड किट एवं आवश्यक प्रशिक्षण प्रदान किया जाए, जिससे वे सर्पदंश की स्थिति में त्वरित और सुरक्षित बचाव कार्य कर सकें।

अस्पतालों में एंटी-वेनम व उपचार की समुचित व्यवस्था के निर्देश

शासकीय चिकित्सा संस्थानों में सर्पदंश के उपचार के लिए आवश्यक दवाइयाँ, उपकरण और पर्याप्त मात्रा में एंटी-वेनम स्टॉक सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों एवं जिला अस्पतालों में नागरिकों को प्राथमिक उपचार, चेतावनी संकेत, तथा सर्पदंश से संबंधित संपूर्ण प्रक्रिया की जानकारी देने वाले सूचना बोर्ड प्रदर्शित करने के लिए कहा गया है।

आपदा प्रबंधन योजना में सर्प-दंश को शामिल कर बनायें योजना

जिलों को निर्देशित किया गया है कि वे जिला आपदा प्रबंधन योजना में सर्प-दंश को स्थानीय आपदा के रूप में शामिल करें। इसके तहत पूर्व वर्षों की घटनाओं का जोखिम मूल्यांकन, प्रभाव क्षेत्र और प्रभावित वर्गों की पहचान कर एसओपी तैयार किया जाए। जीआईएस आधारित मैपिंग करते हुए डिजिटल डाटाबेस बनाया जाए, जिसमें घटनाओं की संख्या, स्थान, सांप की प्रजाति, एवं मृत्यु/रोगी की जानकारी सहेजी जाए।

सर्पदंश से बचाव के लिए सावधानियाँ एवं सलाह

जन सामान्य को सलाह दी गई है कि वे वर्षा ऋतु में विशेष सतर्कता बरतें। खेतों में कार्य करते समय जूते-मोज़े पहनें, गहरे रंग के कपड़े पहनें और हाथों में दस्ताने लगाएं। झाड़ियों, पुआल के ढेर, लकड़ी के गट्ठर आदि स्थानों में काम करने से पहले वहां डंडे या लाठी से हल्का प्रहार करें। अंधेरे में टॉर्च का उपयोग करें और बच्चों को बिना देखरेख खुले स्थानों पर न भेजें। घर के आसपास साफ-सफाई रखें, झाड़ियाँ काटें और कूड़ा-कचरा हटाएं। घरों की दीवारों में मौजूद दरारें बंद करें और खुले में सोने से परहेज़ करें। यदि किसी को सर्प ने डस लिया हो तो घबराएं नहीं, शरीर को शांत रखें और तुरंत नज़दीकी स्वास्थ्य केंद्र या अस्पताल पहुँचें। घाव को चाकू से काटना, चूसना या उस पर कोई रसायन लगाना अत्यंत हानिकारक है। झाड़-फूंक, टोना-टोटका या तांत्रिक क्रियाओं में समय न गंवाएं। यह समय जीवन रक्षक हो सकता है, इसलिए हर क्षण अमूल्य है।

सर्पदंश ग्रसित व्यक्ति को यथाशीघ्र अस्पताल ले जाएं। यदि संभव हो तो सांप का रंग, लंबाई या कोई चित्र याद रखें लेकिन उसे मारने या पकड़ने का प्रयास न करें, क्योंकि इससे और खतरा हो सकता है। कई बार सांप विषैला नहीं भी होता, पर उपचार में देर जानलेवा साबित हो सकती है। सभी नागरिकों से अपील की गई है कि वे सर्प-दंश से संबंधित इस आपदा को गंभीरता से लें। शासन एवं जिला प्रशासन द्वारा किए गए प्रबंध तभी प्रभावी होंगे जब नागरिक स्वयं भी सावधानी बरतेंगे, समय पर उपचार लेंगे और जागरूकता फैलाने में सहयोग करेंगे। संयुक्त प्रयासों से ही सर्पदंश से होने वाली जनहानि को नियंत्रित किया जा सकता है।

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थाना प्रभारी एवं तहसील कार्यालय पर तहसीलदार को ज्ञापन दिया

बबलू मीणा पिता रामविलास मीणा निवासी बाबुल्दा के अपहरण के को लेकर सोमवार को मीणा समाज मंदसौर जिला एवं सर्व समाज बाबुल्दा के द्वारा भानपुरा थाना पर जाकर थाना प्रभारी एवं तहसील कार्यालय पर तहसीलदार को ज्ञापन दिया तथा 24 घंटे के अंदर आरोपियों को नहीं पकड़ा गया तो समाज एवं ग्रामवासी द्वारा चक्का जाम एवं आंदोलन किया जाएगा तो उसकी संपूर्ण जवाबदारी शासन प्रशासन की रहेगी।

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