आचार्य प्रमोद कृष्णम का बड़ा बयान मोदी नहीं होते तो मंदिर का निर्माण नहीं हो सकता था’
लखनऊ: 22 जनवरी को होने वाले रामलला प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम का निमंत्रण अस्वीकार करने के बाद कांग्रेस के नेता ही पार्टी पर हमला बोल रहे हैं। अब पार्टी आलाकमान के इस निमंत्रण के अस्वीकार करने पर प्रमोद कृष्णम ने हमला बोला है। उन्होंने कहा कि पार्टी को राम का निमंत्रण स्वीकार करना चाहिए था। यह बेहद ही दुर्भाग्यपूर्ण है।
आचार्य प्रमोद कृष्णम का बड़ा बयान उन्होंने कहा, यह दुर्भाग्य का विषय है…राम के निमंत्रण को तो कोई ईसाई, पादरी, मुसलमान भी नहीं ठुकरा सकता| ईसाई के बहाने कांग्रेस पर बड़ा हमला बोला निमंत्रण न स्वीकार करने वाले श्रीराम का नहीं,प्रभु श्रीराम को राजीव गांधी मानते थे,प्रभु श्रीराम को महात्मा गांधी मानते थे लेकिन कांग्रेस राज राम का नाम नहीं ले रही है,प्रभु श्रीराम का निमंत्रण कोई ईसाई भी नहीं ठुकरा सकता’ ,प्रभु श्रीराम का नाम न लेने वाले राम विरोधी हैं,मोदी नहीं होते तो मंदिर का निर्माण नहीं हो सकता था’
प्रमोद कृष्णम ने कहा कि पार्टी को इस निमंत्रण को स्वीकार करना चाहिए था। इस निमंत्रण के लिए उन्हें आभार देना चाहिए था। उन्होंने कहा कि नेतृत्व अपने इस फैसले पर दोबारा विचार करे। यह करोड़ों हिंदुओं और जनमानस के भावना की बात है। कांग्रेस नेता ने कहा कि वह रामलला के दर्शन करने जाएंगे। वहीं प्रदेश कांग्रेस नेताओं के दर्शन करने जाने की बात पर उन्होंने कहा कि अयोध्या में तो 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा हो रही है तो वह किसके दर्शन करने जा रहे हैं? यह तो उन नेताओं से ही पूछा जाना चाहिए।
कांग्रेस को ऐसे फैसलों से दूर रहना चाहिए- अर्जुन मोढ़वाडिया
कांग्रेस हाईकमान ने अयोध्या का न्योता ठुकरा तो दिया लेकिन इससे पार्टी के अंदर असंतोष की लहर फूट पड़ी है। पार्टी के नेता कहीं दबी ज़बान में तो कहीं खुलकर इस फैसले के विरोध में बयान देने लगे हैं। इनमें कांग्रेस समर्थक आचार्य प्रमोद कृष्णम हैं, गुजरात से कांग्रेस के सीनियर नेता अर्जुन मोढ़वाडिया हैं। गुजरात कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष अंबरीश डेर हैं ये सब के सब हाईकमान के फैसले से नाराज़ हैं। कांग्रेस हाईकमान के इस फैसले का गुजरात कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और वर्तमान में पोरबंदर से विधायक अर्जुन मोढ़वाडिया ने खुलकर विरोध किया है। अर्जुन मोढ़वाडिया सोशल मीडिया पोस्ट पर लिखते हैं- भगवान श्री राम आराध्य देव हैं।