दलौदा

25 वर्षीय बिरसा मुंडा जी ने 200 साल की ब्रिटिश हुकूमत को हिला डाला था- श्री धनोतिया

25 वर्षीय विरसा मुंडा जी ने 200 साल की ब्रिटिश हुकूमत को हिला डाला था- श्री धनोतिया

शासकीय महाविद्यालय में भगवान बिरसा मुंडा जी की 150 वीं जयंती मनाई गई 

राजकुमार जैन

दलौदा- स्वामी विवेकानंद शासकीय महाविद्यालय दलौदा में स्वतंत्रता आंदोलन के अग्रणी सेनानी महान लोकनायक भगवान् बिरसा मुंडा जी की 150 वीं जयंती को राष्ट्रीय जनजाति गौरव दिवस के रूप मनाया गया है। सर्वप्रथम लोकनायक भगवान् बिरसा मुंडा जी प्रतिमा पर स्थानीय प्रबंधन समिति के अध्यक्ष माननीय हेमंत धनोतिया द्वारा पुष्प माल्यार्पण कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया है। तत्पश्चात कार्यक्रम के मुख्य अतिथि माननीय हेमंत धनोतिया का स्वागत कार्यक्रम प्रभारी डॉ. नोंदराम मालवीय तथा प्रो. प्रिया जैन द्वारा पुष्प गुच्छ भेंट कर किया गया है। डॉ. ओंकार सिंह रावत ने कार्यक्रम की संक्षिप्त रूपरेखा प्रस्तुत करते हुए कार्यक्रम में उपस्थित सभी का स्वागत अभिवंदन किया गया है। मुख्य अतिथि माननीय हेमंत धनोतिया ने अपने उद्बोधन में कहा है कि वर्ष 2021 में भारत सरकार के प्रधानमंत्री माननीय नरेन्द्र मोदी ने भगवान बिरसा मुंडा जी की जयंती 15 नवंबर को राष्ट्रीय जनजातीय गौरव दिवस के रूप में घोषित किया। देश में 200 सालों तक राज करने वाली ब्रिटिश अंग्रेजी हुकूमत की नींव हिला देने वाले मात्र 25 वर्ष की आयु में लोहा लेने वाले जल, जंगल, जमीन के असली रखवाले देश की स्वतंत्रता के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले अग्रणी सेनानी महान लोकनायक भगवान् बिरसा मुंडा जी की जयंती पर महाविद्यालय के समस्त प्राध्यापकों , कर्मचारियों तथा छात्र छात्राओं को बधाईयां एवं शुभकामनाएं दी हैं। डॉ . जसवंत कारपेंटर ने कहा कि लोकनायक भगवान् बिरसा मुंडा जी ने अंग्रेजों द्वारा लागू जमींदार प्रथा, जनजातियों के पारंपरिक जीवन पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ संघर्ष किया। मंच संचालन करते हुए डॉ. पवन कुमार पिलोदिया ने कहा कि हैं कि भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में भगवान बिरसा मुंडा जी का योगदान अतुलनीय है। वे न केवल अपने क्षेत्र की जनजातियों के नेता थे, बल्कि उनके संघर्ष और बलिदान ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम को नई दिशा दी। यह गौरव दिवस उनकी सांस्कृतिक धरोहर , संघर्षों और उपलब्धियों का सम्मान करता है। छात्र भरत मीणा ने अपने उद्बोधन में कहा है कि भारत के इतिहास में भगवान बिरसा मुंडा जी का नाम एक ऐसे वीर योद्दा और समाज सुधारक के रूप में अंकित हैं, जिन्होंने अपने जीवन को जनजाति समाज की उन्नति और उनके अधिकारों के लिए समर्पित कर दिया। इस अवसर पर कार्यक्रम के प्रभारी डॉ . नोंदराम मालवीय , डॉ . दीप्ति श्रीवास्तव, डॉ . नीधि रावल पालरिया, डॉ . नीरज कुमार जोशी, प्रो . मेघा जोशी, प्रो . अमीर खान, प्रो . पंकज शर्मा ,प्रो. विकाश प्रजापत, प्रो . राजेश हाड़ा, प्रो . रत्नेश बैरागी, चेतन घावरी तथा बड़ी संख्या में छात्र छात्राएं उपस्थित थे। अंत में कार्यक्रम का आभार प्रो . प्रिया जैन ने माना है।यह जानकारी डॉ . ओंकार सिंह रावत ने दी।

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