ग्राम पंचायत नापाखेड़ा के नागर पिपलीया में पानी की किल्लत से परेशान ग्रामीण

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फरवरी महीने में ही नल-जल योजना हो जाती है बंद गर्मी में दूर दूर से लाना पड़ता है पानी
श्याम ठाकुर
मल्हारगढ़:- कहने को तो पानी की किल्लत को देखते हुए सरकार गांव गांव तक पानी पहुचाने की हर संभव कोशिश कर रही है पर इसे वास्तविकता में धरातल पर उतारने में फिस्सड्डी साबित हो रही है।जो हो रहा है बस कागजो में हो रहा है ना जनप्रतिनिधि ध्यान देते है और ना ही प्रशासन।गांव में सरकारी कुवे व हर घर नल-जल योजना तो है पर पानी की किल्लत की वजह से शोपीस बने पड़े है।बहुत से सरपंच आये और गए सभी को अवगत भी कराया पर किसी सरपंच ने आज तक इसका स्थायी समाधान नही किया।जनप्रतिनिधियों को ग्रामीणों ने पानी की किल्लत को लेकर बहुत सी बार अवगत कराया पर किसी ने इस और गंभीरता से ध्यान नही दिया।इस गांव में दो सरकारी कुवे और एक ट्यूबेल है जिसमे पानी की कमी होने की वजह से गर्मियों में बंद हो जाती है जिससे ग्रामीणों को दूर दूर से पानी लाना पड़ता है।माननीय देवड़ा जी से बहुत सी मांग की बहुत सी बार अवगत कराया पर उन्होंने अभी तक इसका स्थायी समाधान नही निकाला।
ग्रामीणों का कहना है:-
देवनारायण मंदिर के पास जो सरकारी कुवा है अगर उसका चौड़ीकरण और गहरीकरण हो जाये तो गांव वालों को पर्याप्त पानी मिल जाएगा गर्मियों में भी नल-जल योजना चल सकती है।
पर इसके लिए करीब 10 लाख रुपये की जरूरत है और इतना बजट पंचायत के पास नही है।
सरपंच प्रतिनिधि रुपसिंह चौहान का कहना है:- हमारे पंचायत के पास इतना बजट नही है के इस कुवे का चौड़ीकरण और गहरीकरण करवा सके इसमे लगभग 10 लाख का खर्चा है हमने देवड़ा जी मांग की है देखते है वो कब तक ग्रामीणों की इस मांग को पूरी कर समस्या का समाधान करते है।
परेशान ग्रामीण हर जगह जाते है आवेदन देते है साथ ही सरपंच प्रतिनिधि को अवगत कराते है समस्या बताते है लेकिन समस्या का कोई स्थायी समाधान नही होता बस जूठे दिलासे दिए जाते है। ये सिलसिला लगभग 15 सालों से जारी है। 15 सालों से ग्रामीण इसी आस पर बैठे है कब होगा समाधान।