अपराधमंदसौरमध्यप्रदेश

सीतामऊ में फर्जी व्यक्ति खड़ा कर करवाई रजिस्ट्री , फरियादी ने थाने में दिया आवेदन हो सकती क्रेता विक्रेता एवं गवाहों के ऊपर कार्यवाही?

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जगदीश चंद्र चौहान

सीतामऊ । तहसील अंर्तगत ग्राम सेदरा माता स्थिति कृषि भूमि सर्वे नंबर 706 रकबा 1.01 यानी पांच बीघा एक आरी भूमि सिंचित लगानी बरुए रेट की क्रेता के पक्ष में की गई जिसका पंजीयन क्रमांक संख्या mp 249412022A11134860 रजिस्ट्री दिनांक 16/11/2022 संपति बाजार मूल्य 6,69,832 लाख उनसित्तर हजार आठ सो बत्तीस रुपए प्रति फल राशि 6,70000 लाख सत्तर हजार पंजीयन सूल्क 6,699 छ हजार छसौ निनानवे रुपए कुल स्टांप शुल्क 43,544 तरालिस हजार पांच सौ चुम्मालिस रुपए उप पंजीयक मनोहर दास बैरागी द्वारा ऑन लाइन रजिस्ट्री की गई जहा पर क्रेता विक्रेता गवाहो के आधार कार्ड एवं व्यक्ति का भौतिक सत्यापन किया जाता है पर इस रजिस्ट्री में शायद नही किया होगा सबसे पहले रजिस्ट्री का स्लाट बुक सर्विस प्रोवाइडर के द्वारा किया जाता है रजिस्ट्री स्लाट बुक सर्विस प्रोवाइडर यूजर आ ई डी जारी कर्ता अशोक जैन1244 380720150047 मंदसौर रोड़ पुलिस स्टेशन सीतामऊ द्वारा स्लाट बुक किया गया यहां तक तो ठीक हैं ।

लेकिन इसके बाद जो हुवा वो धारा 420 के अंर्तगत का काम किया है .? क्युकी सर्वे नंबर 706 रकबा 1.01 जिसमे दो व्यक्ति के नाम थे दोनो भाई हे एक का नाम बगदीराम पिता नारायण जाति नट व राधेश्याम पिता नारायण जाति नट दोनो नीवासी सेदरा माता हाल मुकाम एक का तो प्रताप पूरा दूसरा राजस्थान मजदूरी के लिए गया हुवा हे जिसमे से प्रतापपूरा में रहने वाला बगदीराम पिता नारायण ने अपनी कृषि भूमि क्रेता श्रीमती मानाबाई पति भारत सिंह जाति गुर्जर निवासी पोटलिया को विक्रय कर दी गई पर सभी भूमि की रजिस्ट्री करवाने के लिए दोनो भाई को मोजूद रहना था लेकिन दोनो भाई में से एक भाई बगदीराम रजिस्ट्री करवाने आया दूसरा फर्जी राधेश्याम बनकर रजिस्ट्री में खड़ा किया गया।

आज की स्थिति में असली राधेश्याम 57 साल का है जो जीवित है और जो रजिस्ट्री में हे वो 45 साल के लगभग का फर्जी व्यक्ति हे जो राधेश्याम बनकर रजिस्ट्री करवाई गई इस मामले में दो गवाह भी हे जिसने फर्जी राधेश्याम की पहचान की।

जब दूसरे भाई को मालूम पड़ा की बड़े भाई ने सभी भूमि की रजिस्ट्री करवा दी गई बिना मेरे मौजूदगी में ये केसे हो सकता हे जब असली राधेश्याम ने रजिस्टार कार्यलय से विक्रय पत्र की कापी निकाली तो पता चला की मेरी जगह दूसरा फर्जी राधेश्याम बनकर रजिस्ट्री करवाई गई तो उसके पैरो तले जमीन खिसक गई जेसी स्तिथि हो गई ।

फरियादी राधेश्याम में सीतामऊ थाना प्रभारी के नाम फर्जी रजिस्ट्री करवाने को लेकर एक आवेदन जांच के लिए दिया गया दूसरा आवेदन तहसील दार कार्यलय में आपत्ति आवेदन दिया गया जिससे नामांतरण नही हो पाए ।

जबकि रजिस्ट्री करवाने से पहले सर्विस प्रोवाइडर को सभी दस्तावेजो को पूरी तरह जांच लेना चाहिए था अगर फर्जी राधेश्याम आया था तो सर्विस प्रोवाइडर अशोक जैन के द्वारा स्लाट बुक क्यों किया पहली गलती तो वहा पर हुई दूसरी गलती रजिस्टार के वहा हुई बहुत बड़ी गलती की गई जबकि राजिस्टार के द्वारा आधार कार्ड का सत्यापन एवं ऑन लाइन फोटो होते हैं फिर रजिस्टार ने किया देखा गलती तो उनकी भी है ।

अब देखना ये होगा की असली फरियादी राधेश्याम के द्वारा फर्जी रजिस्ट्री होने पर थाना प्रभारी को दिया गया जांच आवेदन में कोन कोन जांच के घेरे में आते हे ये तो पुलिस की जांच में ही पता चलेगा वैसे ही रजिस्ट्री में लगा फर्जी राधेश्याम का फोटो ही खुद बया करता दिखाई दे रहा हे की रजिस्ट्री फर्जी हुवी हे पर है जांच का विषय जांच में सबसे पहले सर्विस प्रोवाइडर अशोक जैन सीतामऊ आ सकते हे दूसरे नंबर पर रजिस्टार तीसरे नंबर पर क्रेता विक्रेता एवं रजिस्ट्री में बने दोनो गवाह भी जांच के घेरे में है क्युकी उनके द्वारा भी फर्जी राधेश्याम की पहचान की गई अब जांच में देखना होगा की पुलिस जांच के दोरान कितने आरोपी बनाती है ये जांच में पता चलेगा क्युकी एक ऐसा मामल पहले भी हो चुका है सीतामऊ तहसील के पारली गांव का जिसमे फर्जी कमला बाई को खड़ी कर रजिस्ट्री करवाई गई थी जिसमें भी जांच आवेदन दिया गया था जिसमे 420 के अंतर्गत 4 आरोपी बनाए गए थे फिर उनको जेल की हवा खानी पड़ी थी वेसा ही मामला ये भी हे उसमे महिला फर्जी खड़ी हूवी थी इसमें पुरुष खड़ा हुवा था असली राधेश्याम फर्जी रजिस्ट्री खारिज करवाने के लिए कोर्ट का दरवाजा भी खटखटा सकता है ।

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