समाचार मध्यप्रदेश नीमच 23 अक्टूबर 2025 गुरुवार

खेत में गाय की मामूली बात को लेकर
मोरवन में हुआ जानलेवा हमला, पुलिस ने दर्ज की एफआईआर
गंभीर घायलों का जिला चिकित्सालय में चल रहा इलाज
नीमच। समीपस्थ ग्राम मोरवन के कीर मोहल्ला निवासी मनोहर कीर पिता रोडमल कीर, प्रकाश कीर पिता रोडमल कीर व कमल कीर पिता मनोहर कीर पर मंगलवार 21 अक्टूबर 2025 को जानलेवा हमला हुआ जिसमें तीनो को गंभीर चोंटे लगी। तीनो जिला चिकित्सालय में उपचारत है। पुलिस चौकी सरवानियां महाराज, थाना जावद, जिला- नीमच द्वारा फरियादी प्रकाश कीर पुत्र रोडमल कीर की रिपोर्ट पर अभिषेक पिता मुकेश कीर, व मुकेश कीर पिता गिरधारीलाल कीर निवासी ग्राम मोरवन थाना जावद के विरूद्ध भारतीय न्याय संहिता बीएनएस की धारा 296, 115 (2), 351(3), 3(5) में अपराध पंजीबद्ध कर एफआईआर दर्ज की।
फरियादी कीर मोहल्ला निवासी मनोहर कीर को अधिक गंभीर चोट पहुंची, मनोहर कीर के परिजनों ने बताया कि सिर पर गंभीर हमले के बाद मनोहर कीर बेहोश हो गये थे चोट से वे कुछ समय के लिये बेसुध हो गये। इस संबंध में बुधवार की सुबह चर्चा में मनोहर कीर ने बताया कि हमारे उपर जानलेवा हमला हुआ है, हम तीनों को सिर पर व शरीर के अन्य हिस्सों में गंभीर चोट लगी है, सिर पर टांके आये है। मनोहर कीर व उनके परिजनों ने जिला कलेक्टर व पुलिस प्रशासन ने मांग की है कि जानलेवा हमला करने वाले लोगों पर शीघ्र ही कड़ी कार्यवाही की जाये।
पुलिस चौकी सरवानियां महाराज को जो रिपोर्ट लिखाई गई है उस अनुसार फरियादी प्रकाश कीर पिता रोडमल कीर ने बताया कि वो ग्राम मोरवन रहता है व खेती का काम करता है। उसके बड़े पापा घीसालाल कीर ने उनका खेत पाती से मुकेश पिता गिरधारीलाल कीर निवासी मोरवन को दे रखा है। प्रकाश कीर ने बताया कि उसने दिनांक 21.10.2025 को दिन मे खेत पर अभिषेक पिता मुकेश कीर को बोला कि तुम्हारी गाय को बांधकर रखा करो मेरे खेत मंे नुकसान करती है। इतना कहकर वहाँ से प्रकाश घर आ गया था फिर उसी दिन शाम करीबन 06.30 बजे पं्रकाश कीर घर पर ही था तो अभिषेक और उसके पिता मुकेश दोनो प्रकाश के घर के बाहर आकर बोले कि घर से बाहर आ बात करनी है तो प्रकाश व उसकी पत्नी दिलखुश बाई घर से बाहर आये तो अभिषेक व मुकेश दोनों ने प्रकाश व उसकी पत्नी को माँ बहन की अश्लील नग्गी नग्गी गालियां दे कर बोले की मेरी गाय को बाधने की कहने वाला तु कौन होता है। इस पर प्रकाश ने कहा कि उसने व उसकी पत्नी दोनो को गालियां नही देवे और गालिया देने से मना किया तो मुकेश ने प्रकाश केे साथ हाथ थप्पड़ से मारपीट की तो चिल्ला चोट की आवाज सुनकर प्रकाश का बड़ा भाई मनोहर कीर व भतीजा कमल कीर आये इतने मे अभिषेक अपने घर से छुरी लेकर आया और प्रकाश के भतीजे कमल के मारी जो उसके सिर पर पीछे तरफ गंभीर चोट लगी। प्रकाश ने बताया कि वह बीच बचाव करने गया तो अभिषेक ने उसके मारी जो जिससे उसके ललाट पर सामने की तरफ चोट लगी । प्रकाश ने कहा कि उसका भाई मनोहर कीर बचाने आया तो अभिषेक ने मनोहर कीर के भी मारी जो उसके ललाट पर बाई आँख के पास गंभीर चोट लगी। प्रकाश ने बताया कि घटना देख रहे नितेश पिता रमेश बैरागी व देवीश पिता जगदीश कीर निवासी मोरवन ने बीच बचाव कर हमें छुड़ाया। उसके बाद भी मुकेश व अभिषेक कीर दोनो बोल रहे थे कि आज तो बच गये आईन्दा अगर रोज हमे गाय बांधने की बात बोली तो तुम्हे जान से खत्म कर देंगे।
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किसानों को भावांतर योजना से जुड़ी सम्पूर्ण प्रक्रिया में कोई असुविधा न आने दें : मुख्यमंत्री डॉ. यादव
भावांतर योजना में 9.36 लाख किसानों ने कराया पंजीयन
नीमच 22 अक्टूबर, 2025 मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रदेश के किसानों के हित में भावांतर योजना प्रारंभ की गई है, जिसका चहुंओर स्वागत हो रहा है। प्रदेश में तीन गुना से अधिक पंजीयन योजना में हुए हैं। कुल 9.36 लाख किसानों ने पंजीयन करवाया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि योजना की संपूर्ण प्रक्रिया में किसानों को कोई असुविधा न हो, यह सुनिश्चित किया जाए।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने प्रदेश में किसानों से सोयाबीन खरीदी के लिए लागू की गई भावांतर योजना के संबंध में मुख्यमंत्री निवास में हुई बैठक में वरिष्ठ अधिकारियों से चर्चा कर निर्देश दिए। बैठक में बताया गया कि भावांतर योजना में प्रदेश में सात जिले उज्जैन, राजगढ़, शाजापुर, देवास, सीहोर, विदिशा और सागर ऐसे हैं जहां 50-50 हजार से अधिक किसानों ने पंजीयन करवाया है। इसी तरह 21 जिलों से 10-10 हजार से अधिक किसानों ने पंजीयन करवाया है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जिलों में किसानों को मंडियों और उपमंडियों में सोयाबीन विक्रय के लिए आवश्यक तैयारियां पूर्ण की जाएं। योजना से संबंधित सभी आवश्यक जानकारियां किसानों को प्रदान की जाएं। इस माह किए गए योजना के प्रचार का ही अच्छा परिणाम है कि बड़ी संख्या में पंजीयन हुए हैं। ई-उपार्जन पोर्टल के माध्यम से किसानों के पंजीकृत बैंक खाते में डीबीटी के माध्यम से भावांतर राशि का भुगतान निर्धारित अवधि में किया जाए, साथ ही भुगतान के संबंध में किसान को एसएमएस के माध्यम से सूचना दी जाए।
मंडियों में की गईं तकनीकी और मानव संसाधन व्यवस्थाएं
बैठक में बताया गया कि प्रदेश में 24 अक्टूबर से 15 जनवरी 2026 तक सोयाबीन की विक्रय अवधि रहेगी। ई-उपार्जन पोर्टल पर पंजीयन के बाद मंडी पोर्टल में ई-मंडी पोर्टल पर सभी कार्य इलेक्ट्रानिक माध्यम से किए गए हैं। सभी मंडियों और उप मंडियों में तकनीकी एवं मानव संसाधन की व्यवस्था की गई है। मंडी स्तरीय कर्मचारियों का प्रशिक्षण भी हुआ है। प्रवेश गेट और प्रांगण की सीसीटीवी मॉनिटरिंग की व्यवस्था की गई है। प्रत्येक मंडी में हेल्प डेक्स भी बनाई गई है। कलेक्टर्स और कमिश्नर्स के साथ ही कृषि सचिव द्वारा बैठकों में भावांतर योजना के संबंध में आवश्यक निर्देश दिए गए हैं।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने एक अन्य बैठक में प्रदेश के किसानों के हित में सोलर पंप योजना के संबंध में वरिष्ठ अधिकारियों से विस्तृत विचार-विमर्श किया। नवकरणीय ऊर्जा विभाग द्वारा प्रदेश में किसानों के लिए सोलर पम्प स्थापना अभियान के संबंध में की जा रही कार्यवाही का विवरण दिया गया। अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय श्री नीरज मंडलोई सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।
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विनिर्माण इकाइयों की संख्या 4 लाख 26 हजार पहुंची
महिला नेतृत्व के स्टार्टअप 47 प्रतिशत तक बढ़े
एमएसएमई सेक्टर जीडीपी में दे रहा 30% का योगदान
नीमच 22 अक्टूबर 2025,मध्यप्रदेश में निवेश मित्र नीतियों और उद्योग समर्थित प्रावधानों के परिणाम स्वरूप पिछले तीन वर्षों में विनिर्माण इकाइयों की संख्या बढ़कर 4,26,230 तक पहुंच गई है। वर्ष 2022-23 में 67332 विनिर्माण एमएसएमई पंजीकृत हुई थी 2023-24 में 89,317 और 2024-25 में 1,13,696 हुई।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव प्रदेश में विनिर्माण क्षेत्र में नई इकाइयों की स्थापना को हर प्रकार से प्रोत्साहित कर रहे है। प्रदेश में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योगों की संख्या भी बढ़ रही है। वर्तमान में प्रदेश में 20.43 लाख एमएसएमई इकाइयाँ है। इसमें 20.22 लाख सूक्ष्म उद्यम है, 19508 लघु उद्योग और 1178 मध्यम उद्यम हैं। एमएसएमई सेक्टर में 21% विनिर्माण श्रेणी की, 29% सेवा श्रेणी और 50% व्यवसाय श्रेणी की इकाइयां हैं। इस प्रकार एमएसएमई सेक्टर राज्य के सकल घरेलू उत्पाद में 30% का योगदान दे रहा है। इस क्षेत्र में लगभग 66 हजार करोड रुपए से अधिक का निवेश वर्तमान में है। इनमें एक करोड़ से ज्यादा लोगों को रोजगार मिला है।
बढ़ते स्टार्टअप
मध्यप्रदेश की स्टार्टअप नीति के परिणामस्वरूप अब अधिमान्य स्टार्टअप की संख्या 6000 से अधिक हो गई है। इनमें से लगभग 2900 यानी 47% स्टार्टअप महिला उद्यमियों के हैं। इसके अलावा कुल इनक्यूबेटर की संख्या 100 से ज्यादा है। स्पष्ट है कि प्रदेश में स्टार्टअप परिस्थिति तंत्र में बहुत तेजी से सुधार हो रहा है। प्रदेश में स्मार्ट सिटी इनक्यूबेटर 7, अटल इनक्यूबेटर सेंटर 4, टेक्नोलॉजी बिजनेस इंटर इनक्यूबेटर दो, एक एपेरल इनक्यूबेटर ग्वालियर में, दो एग्री इनक्यूबेटर सेंटर ग्वालियर और जबलपुर में, तीन सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजी पार्क ग्वालियर, भोपाल और इंदौर में स्थापित है।
RAMP (Raising and Accelerating MSME Performance) योजनांतर्गत प्रदेश के सभी जिलों में इन्क्यूबेशन सेंटर स्थापित करने की योजना है। इनमें से 7 जिलों नर्मदापुरम्, विदिशा, हरदा, राजगढ़, रायसेन, अशोकनगर एवं भोपाल में एमएसएमई इन्नोवेशन-सह-इन्क्यूबेशन सेंटर की स्थापना की स्वीकृति प्रदान की गई है।
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी का विजन है कि स्टार्ट-अप को अधिक से अधिक प्रोत्साहन दें जिससे भारत के युवा नौकरी देने वाले बनें। मध्यप्रदेश में इस सोच को मूर्त रूप देने के लिए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव स्टार्टअप अधोसंरचना को मजबूत बनाकर कार्य कर रहे हैं। नई स्टार्ट-अप नीति बन जाने से प्रदेश ग्लोबल स्टार्ट-अप हब बनने की ओर बढ़ रहा है। भविष्य में युवा उद्यमियों को ग्लोबल मंच मिलेगा और लाखों रोजगार सृजित होंगे। स्टार्टअप ईको सिस्टम राज्य की आर्थिक प्रगति और युवाओं के लिए रोजगार के अवसर सृजित करने में अहम भूमिका निभा रहा है।
मध्यप्रदेश स्टार्टअप सीड फंड सहायता तथा 100 करोड़ रुपए का कैपिटल फंड
स्टार्टअप्स के युवा उद्यमियों के लिए सबसे बड़ी चुनौती प्रारंभिक पूंजी की व्यवस्था करना होती है। इस बाधा को दूर करने के लिए प्रदेश के नए स्टार्टअप्स के लिये 30 लाख रुपये तक का
न किया गया है। यह कोष उभरते स्टार्ट-अप्स को उनके शुरुआती चरणों में वित्तीय सहायता प्रदान करेगा तथा उन्हें अपने व्यापार को आगे बढ़ाने में सहायता प्रदान करेगा। इससे वे अपने स्टार्टअप का विस्तार कर सकेंगे साथ ही विस्तार की चुनौतियों का सामना कर सकेंगे।
सीड फंड अनुदान तथा 100 करोड़ रुपए के कैपिटल फंड का मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति 2025 में प्रावधा
मेगा इनक्यूबेशन सेंटर और नवाचार को बढ़ावा
राज्य में मेगा इनक्यूबेशन सेंटर स्थापित किया जाएगा, जिसके सेटेलाइट सेंटर प्रदेश के अन्य उपयुक्त स्थानों में स्थापित किए जायेंगे। इनसे स्टार्टअप्स को आवश्यक संसाधन, मार्गदर्शन और ग्लोबल बाजार तक पहुंचने में मदद मिलेगी। बौद्धिक संपदा सुरक्षा को भी प्राथमिकता दी गई है। इसके लिये घरेलू पेटेंट के लिए 5 लाख रुपये और अंतर्राष्ट्रीय पेटेंट के लिए 20 लाख रुपए तक की वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई जाएगी। इससे स्टार्टअप्स को नवाचार करने और वैश्विक प्रतिस्पर्धा में आगे बने रहने में मदद मिलेगी।
महिला उद्यमिता को बढ़ावा
नई नीति के अनुसार राज्य में 47% महिला-नेतृत्व वाले स्टार्ट-अप्स है तथा प्रदेश के स्टार्टअप ईकोसिस्टसम में महिलाओं का योगदान बढ़-चढ़ कर आ रहा है। महिला उद्यमिता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति में महिला नेतृत्व वाले स्टार्टअप्स को विशेष सहायता प्रदान करने का प्रावधान किया गया है।
स्टार्टअप परिचालन हेतु वित्तीय सहायता
स्टार्ट-अप्स संचालन के खर्चों को कम करने के लिए किराया सहायता योजना भी लागू की गई है। स्टार्ट-अप्स को 50 प्रतिशत तक किराया भत्ता अधिकतम 10 हजार रुपए प्रति माह दिया जाएगा। साथ ही प्रोटोटाइप डेवलपमेंट, ऑनलाइन विज्ञापन आदि हेतु भी वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई जा रही है।
नये क्षेत्रों में स्टार्ट-अप्स को प्राथमिकता
नीति में कृषि, फूड प्रोसेसिंग, डीप टेक, बॉयोटेक और नवीनतम तकनीकों के क्षेत्र में स्टार्ट-अप्स को बढ़ावा देने पर जोर दिया गया है। इससे राज्य में विविध और सशक्त स्टार्ट-अप ईको सिस्टम विकसित होगा, जिससे प्रदेश के आर्थिक विकास में सहायता मिलेगी।
एंटरप्रेन्योर-इन-रेजिडेंस ईआईआर प्रोग्राम और कौशल विकास सहायता
राज्य में स्टार्ट-अप्स को प्रोत्साहित करने के लिए एंटरप्रेन्योर-इन-रेजिडेंस ईआईआर प्रोग्राम लागू किया गया है, जिसके अंतर्गत नए स्टार्टअप्स को 10 हजार रुपए प्रति माह (अधिकतम एक वर्ष के लिए) की वित्तीय सहायता दी जाती है।
स्टार्ट-अप एडवाइजरी कॉउंसिल और ऑन लाइन पोर्टल
नीति को प्रभावी ढंग से लागू करने और क्रियान्वयन की मॉनिटरिंग के लिए “स्टार्ट-अप एडवाइजरी काउंसिल” का गठन किया जाएगा, जिसमें विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञ शामिल होंगे। इसके साथ ही स्टार्ट-अप्स के लिए एक समर्पित ऑन लाइन पोर्टल और हेल्प लाइन भी बनाई गई है। इससे उन्हें वित्तीय सहायता, सरकारी योजनाओं और अन्य संसाधनों की जानकारी आसानी से मिल सकेगी।
मध्यप्रदेश स्टार्टअप नीति में उत्पाद आधारित स्टार्टअप के लिए विशेष पैकेज की व्यवस्था है। इसके अलावा वित्तीय सहायता, पेटेंट, लीज रेंट, ईआईआर और आयोजनों में सहभागिता के लिए भी सहायता का प्रावधान है। मध्यप्रदेश स्टार्टअप सेंटर में एक समर्पित टीम कार्य कर रही है। राज्य स्टार्टअप पोर्टल को स्टार्टअप इंडिया पोर्टल के साथ एकीकृत किया गया है और वित्तीय सहायता के लिए ऑनलाइन प्रक्रिया अपनाई गई है।
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प्रदेश सरकार गौवंश संरक्षण एवं दुग्ध उत्पादन बढ़ाने पर तेजी से कार्य कर रही है “-श्री परिहार
“गोवर्धन पूजा हमारी प्राचीन परंपरा का उत्सव है” विधायक
भाटखेड़ा गौशाला में जिला स्तरीय गोवर्धन पूजा संपन्ननीमच 22 अक्टूबर 2025, मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के नेतृत्व में प्रदेश सरकार गौ संवर्धन एवं संरक्षण के साथ दुग्ध उत्पादन को बढ़ाने के लिए तेजी से कार्य कर रही है। मध्यप्रदेश में 2500 गौशालाओं में 4 लाख से अधिक गौवंश का पालन किया जा रहा है।सरकार ने गौवंश के बेहतर आहार के लिए प्रति गौवंश मिलने वाली 20 रुपए की राशि बढ़ाकर 40 रुपए कर दी है। यह बात नीमच विधायक श्री दिलीप सिंह परिहार ने बुधवार को श्रीमद भागवत गौशाला भाटखेड़ा में गोवर्धन पूजा करने के बाद आयोजित जिलास्तरीय कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कही। इस मौके पर कलेक्टर श्री हिमांशु चंद्रा ,एसडीएम श्री संजीव साहू, गौशाला के प्रबंधक श्री कैलाशचंद्र अहीर, ,गौशाला संरक्षक श्री नाथू सिंह राठौड़, भी मंचासीन थे ।
मुख्य अतिथि विधायक श्री दिलीप सिंह परिहार ने अपने उद्बोधन में प्रदेश सरकार हमारी संस्कृति और विरासत को सहजने का कार्य कर रही है। विधायक श्री परिहार ने सभी को गोवर्धन पूजा की बधाई दी। उन्होने कहा कि गोवर्धन पूजन,सुख समृद्वि और वैभव का प्रतिक है ।कलेक्टर श्री हिमांशु चंद्रा ने भी अपने उद्बोधन में उपस्थित जनों को दीपावली गोवर्धन पूजा एवं भाईदूज की शुभकांमनाए दी। उपसंचालक पशुपालन डॉ राजेश पाटीदार ने कार्यक्रम की विस्तृत रूपरेखा प्रस्तुत की। कार्यक्रम का संचालन पशु चिकित्सक डॉ राजेश पाटीदार ने किया तथा अंत में डॉ.कैलाश अहीर ने आभार माना।
प्रारंभ में विधायक श्री परिहार एवं अतिथियों ने गौशाला के प्रवेश द्वार पर गायत्री परिवार के आचायों के नेतृत्व में वैदिक मंत्रोचार के साथ गोवर्धन पूजा की और गौशाला में जाकर गौ माता का पूजन- अर्चन किया। अतिथियों ने ग्रायों को ग्रास खिलाए। विधायक ने गौ सेवा में लगे गौशाला के गौ सेवकों को अपनी और से एक-एक हजार रूपए प्रदान करने की बात कही और पुष्पहार से उनका सम्मान भी किया।
गोवर्धन पूजा के अवसर पर जिले की सभी गौशालाओं में गोवर्धन पूजा के कार्यक्रम आयोजित किए गए । अतिथियों ने गौशालाओं में गोवर्धन पूजा एवं गौ पूजन किया। इस अवसर पर श्री दीपक नागदा, श्री किशोर दास बैरागी, श्री ईश्वर सिंह, शुभम शर्मा,श्री जितेन्द्र अहीर ,अन्य जनप्रतिनिधि,तहसीलदार श्री संजय मालवीय श्री यशपाल मुजाल्दा,डॉ.ए.आर.धाकड़ , पशुपालन विभाग के अधिकारी कर्मचारी एवं ग्रामीण जन उपस्थित थे।
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कलेक्टर ने निवास पर की गोवर्धन पूजा
नीमच 22 अक्टूबर 2025, कलेक्टर श्री हिमांशु चंद्रा के अपने शासकीय आवास पर शनिवार को गोवर्धन पूजा कार्यक्रम आयोजित किया। कलेक्टर श्री हिमांशु चंद्रा ने अपने परिवार जनों के साथ विधि विधान से गोवर्धन पूजा की। इस अवसर पर कलेक्टर एवं परिवार जनों ने गौ पूजन भी किया और गाय माता को अपने हाथों से गो ग्रास भी खिलाया। गोवर्धन पूजा वैदिक मंत्रोचार के साथ विधि विधान से प. रमेश बैरागी एवं श्री विशाल बैरागी ने सम्पन्न करवाई ।इस मौके पर एसडीएम श्री संजीव साहू, तहसीलदार श्री संजय मालवीय ,श्री यशपाल मुजाल्दा,एवं सहायक संचालक जनसम्पर्क श्री जगदीश मालवीय भी उपस्थित थे ।
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