समाचार मध्यप्रदेश मंदसौर 14 सितंबर 2025 रविवार

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आज 14 सितंबर को मंदसौर जिला कांग्रेस अल्पसंख्यक विभाग की महत्वपूर्ण बैठक
प्रदेश अध्यक्ष श्री शेख अलीम होंगे सम्मिलित
मंदसौर! जिला कांग्रेस कमेटी मंदसौर की महत्वपूर्ण बैठक आज 14 सितंबर 2025 रविवार को दोपहर 1.30 बजे जिला कांग्रेस कार्यालय गांधी भवन, मंदसौर में आहूत की गई हैं। बैठक में अल्पसंख्यक कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष श्री शेख अलीम अल्पसंख्यक कार्यकर्ता सम्मेलन की बैठक में सम्मिलित होकर कार्यकर्ताओं का मार्गदर्शन करेंगे। विशेष रूप से जिला कांग्रेस अध्यक्ष श्री महेन्द्र सिंह गुर्जर, विधायक ’विपीन जैन सहित जिले के सभी वरिष्ठ नेतागण विशेष रूप से उपस्थित रहेंगे।
जिला अल्पसंख्यक विभाग जिलाध्यक्ष एडवोकेट अनीस मंसूरी ने बताया कि बैठक में में अल्प संख्यक मुद्दों सहित अन्य महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की जायेगी। आपने बताया कि प्रदेश अध्यक्ष श्री शेख अलीम रात्रि विश्राम मंदसौर में ही करेंगे। तथा सोमवार की सुबह नीमच प्रस्थान करेंगे।
जिला अल्पसंख्यक विभाग जिलाध्यक्ष एडवोकेट अनीस मंसूरी ने जिला कांग्रेस के समस्त पदाधिकारी, समस्त ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षगण एवं मंडलम-सेक्टर अध्यक्ष गण, मोर्चा/ प्रकोष्ठ/विभाग/ सोशल मीडिया के अध्यक्षगण, जिला जनपद पंचायत सदस्य, पार्षद गण सहित जिले के समस्त कांग्रेसजनों एवं अल्पसंख्यक कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों से अनुरोध है कि इस भवदीय
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एन.सी.सी केडेट राघव जैन ने पॉकेट मनी से बाढ पीड़ितों की मदद का किया प्रयास, सभी ने सराहा
मंदसौर। दिल्ली विश्वविद्यालय नई दिल्ली के डॉ भीमराव अम्बेडकर महाविद्यालय मे मंदसौर के छात्र राघव जैन जो कि एन.सी.सी केडेट भी है को देश के विभिन्न हिस्सो मे हुई अति वर्षा के कारण हुई तबाही ने झकझोर कर रख दिया ओर उनका मन उस समय विचलित हो गया जब एक छोटा सा बच्चा अपनी मृत माता को पानी से बाहर निकालने की कोशिश कर रहा था। यह चित्र देखकर राघव जैन के मन मे यह विचार आया कि जब इनकी मदद देश की सरकारे ओर कई लोग व संस्थाए कर रही है क्यो न मै भी उनकी मदद करू। दुसरो की मदद करने का जज्बा ही सच्चा धर्म है। यह अनुभव एन.सी.सी के आदर्शो के बिल्कुल अनुरूप है जो अनुशासन एकता ओर निस्वार्थ सेवा पर आधारित है। चुकि राघव जैन के पास कोई स्थाई आमदनी का जरिया नही था इसलिये उन्होने यह निर्णय लिया कि उनके पास जो पाकेट मनी होती है उसे ही वह सहायता के रूप मे हिमाचल व पंजाब के मुख्यमंत्रीयो को भेजेगे। ओर उन्होने अपने पाकेट मनी की राशी दोनो प्रदेश के मुख्यमंत्री को भेज दी है ओर आम जनता से भी अनुरोध किया है कि ऐसे संकट के समय यदि हम बड़ी मदद नही भी कर सकते है तो छोटी छोटी मदद भी उनके लिये मददगार होगी। राघव की इस पहल की जिसे भी जानकारी मिली उसने खुले मन से इसे सराहा और तारीफ की क्योंकि जो राशि राघव ने बाढ पीडितों के लिए दी है उससे उनका कोई विशेष भला नहीं हो पायेंगा लेकिन राघव ने यह संदेश जरूर दिया कि यदि मिलकर इस प्रकार का प्रयास किया जायें तो हर विपदा से निपटा जा सकता है।
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जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर द्वारा आयोजित
नेशनल लोक अदालत में कुल 1831 प्रकरणों का निराकरण कर 7,36,15,033/- रूपये के अवार्ड पारित किया गया
मंदसौर 13 सितम्बर 25/ राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं म.प्र. राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जबलपुर द्वारा प्रसारित निर्देशानुसार व माननीय कार्यवाहक प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश/अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर श्री सिद्धार्थ तिवारी के कुशल मार्गदर्शन में दिनांक 13 सितम्बर, 2025, शनिवार को नेशनल लोक अदालत का आयोजन जिला न्यायालय मंदसौर एवं तहसील न्यायालय गरोठ, भानपुरा, नारायणगढ़, सीतामऊ में किया गया।
जिला न्यायालय परिसर स्थित ए.डी.आर. सेंटर भवन के सभागृह में माननीय प्रभारी प्रधान जिला न्यायाधीश श्री सिद्धार्थ तिवारी द्वारा माँ सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। शुभारंभ कार्यक्रम में माननीय प्रभारी प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश एवं अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर श्री सिद्धार्थ तिवारी, प्रधान न्यायाधीश कुटुम्ब न्यायाल श्रीमती प्रिया शर्मा, न्यायमूर्ति श्री जी.डी. सक्सेना (सेवानिवृत्त), सेवानिवृत्त जिला न्यायाधीश श्री रघुवीर सिंह चुण्डावत, जिला अभिभाषक संघ के अध्यक्ष श्री रघुवीर सिंह पंवार ने सम्बोधित कर अपने विचार व्यक्त किये। शुभारंभ कार्यक्रम में आभार जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर के सचिव श्री सुधीर सिंह निगवाल द्वारा व्यक्त किया गया, तथा संचालन जिला विधिक सहायता अधिकारी अपर्णा लोधी द्वारा किया गया।
उक्त कार्यक्रम में माननीय उच्च न्यायालय मध्यप्रदेश के जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश श्री आसिफ अब्दुल्लाह, श्रीमती शिल्पा तिवारी, श्री विवेक बुखारिया, श्रीमती मंजू सिंह, श्री आलोक प्रताप सिंह, श्री मुनेन्द्र सिंह वर्मा, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट श्री अतुल बिल्लोरे, न्यायाधीशगण श्रीमती रोहिणी तिवारी, श्री राजकुमार त्रिपाठी, श्री चिराग अरोरा, श्रीमती प्राची पाण्डेय माटा, डाॅ श्रीमती रूचि पटेरिया अरोरा, सुश्री श्वेता सिंह, सुश्री पूर्वी गुप्ता, श्री काशिष माटा, अधिवक्ता संघ के पदाधिकारी एवं अधिवक्तागण, न्यायिक कर्मचारीगण, विभिन्न बैंक, बीमा कम्पनियां, विद्युत विभाग एवं विभिन्न विभागों के अधिकारीगण, खण्डपीठ सदस्यगण इत्यादि उपस्थित रहे।
दिनांक 13 सितम्बर, 2025 की नेशनल लोक अदालत के सफल आयोजन हेतु जिले में कुल 25 न्यायिक खण्डपीठों का गठन किया गया। कार्यक्रम के शुभारंभ के पश्चात नेशनल लोक अदालत की कार्यवाही गठित खंडपीठों में शाम तक चली, जिसमें राजीनामे के माध्यम से 1831 प्रकरणों का निराकरण किया गया।
उक्त लोक अदालत में कोर्ट में लंबित 1207 मामले निराकरण के लिए रखे गए थे जिसमें से कुल 1047 प्रकरणों का निराकरण किया गया, जिसमें कुल 6,53,97,375/-का अवार्ड पारित किया गया। इसी प्रकार कुल 7124 प्रीलिटिगेशन के रखे प्रकरण में से 784 प्रकरणों का निराकरण किया गया जिसमें 82,17,658/- राशि की वसूली की गई। मोटर दुर्घटना क्षतिपूर्ति दावा के 22 प्रकरण निराकृत किए गए, जिसमें कुल राशि 91,26,032/- का अवार्ड पारित किया गया। इस लोक अदालत में धारा 138 के अंतर्गत चैक बाउंस के 363 प्रकरण निराकृत किए गए जिसमें कुल राशि रू. 4,59,74,000/- का अवार्ड पारित किया गया। कुल 225 आपराधिक शमनीय मामलें एवं कुल 140 पारिवारिक विवादों का निराकरण भी किया गया। इस नेशनल लोक अदालत के माध्यम से प्रकार कुल 3305 व्यक्ति लाभान्वित हुये।
नेशनल लोक अदालत में कुछ विशेष मामलों का निराकरण भी हुआ।
लोक अदालत में विभिन्न् पारिवारिक विवादों का भी समाधान हुआ, जिसके अन्तर्गत 13 मामलों में विवाद के चलते अलग रह रहे पति-पत्नी, समझाईश उपरांत एक साथ घर गए।
पारिवारिक विवादों से संबंधित कुछ प्रमुख मामलें का विवरण निम्नानुसार है-
प्रथम मामला
प्रकरण में पति पत्नी लगभग 9 वर्षों से अलग-अलग जीवन यापन कर रहे थे। दोनों पक्षकारों के बीच मतभेद इतने गहरे थे कि कुल 11 मामले न्यायालयों में लंबित थे, जिनमें अलग-अलग विवादों का निबटारा होना शेष था।
इन लंबित मामलों को सुलझाने हेतु कुटुंब न्यायालय, मंदसौर की माननीय प्रधान न्यायाधीश श्रीमती प्रिया शर्मा एवं समर्पित अधिवक्ताओं के अथक प्रयासों से दोनों पक्षकारों के बीच मध्यस्थता प्रक्रिया पूरी की गई।
परिणामस्वरूप, पति पत्नी दोनों ने आपसी सहमति से सभी विवादों का समाधान कर समझौते पर हस्ताक्षर किए। यह प्रक्रिया केवल न्याय का निर्वहन नहीं थी, बल्कि दोनों परिवारों के बीच शांति और सामंजस्य की पुनः स्थापना भी थी।
इस सफल मध्यस्थता के माध्यम से कुल 11 मामले एक साथ निराकृत किए गए, जिससे दोनों पक्षों को न्याय प्रक्रिया में तेजी और आर्थिक बचत का लाभ मिला।
द्वितीय मामला
एक विशेष और प्रेरणादायक सफलता की कहानी कुटुंब न्यायालय, मंदसौर की लोक अदालत से जुड़ी है।
इस मामलंे मे पत्नी की उम्र वर्तमान में 80 वर्ष है, जबकि उनके पति की उम्र 82 वर्ष है।
विवाह के प्रारंभिक वर्षों में संतान नहीं होने के कारण, पत्नी ने, अपने पति की दूसरी शादी करवाने में पहल की। इसके परिणामस्वरूप पति को दूसरी पत्नी से कुल 6 संतानें हुईं।
समय के साथ-साथ पहली पत्नी एवं उनके पति में विवाद गहराता गया। इसके कारण, दोनों पक्ष लगभग 30 वर्षों से प्रथक जीवन व्यतीत कर रहे थे।
यह विवाद कुटुंब न्यायालय में लंबित था, परंतु लोक अदालत के माध्यम से इसका समाधान किया गया।
कुटुंब न्यायालय, मंदसौर की माननीय प्रधान न्यायाधीश श्रीमती प्रिया शर्मा एवं दोनों पक्षों के अधिवक्ता अज़ीज़ क़ुरैशी एवं ए के मंसूरी के कुशल मध्यस्थता प्रयासों से प्रथम बैठक में ही आपसी सहमति बनी। समझौते के अंतर्गत, पति ने पहली पत्नी के नाम कुछ ज़मीन एवं मकान का हस्तांतरण स्वीकार किया।
इस समझौते से सभी विवादित मुद्दे समाप्त हुए और दोनों पक्षों ने अपने मतभेदों को समाप्त करते हुए एक सकारात्मक समाधान पर सहमति व्यक्त की।
इस प्रक्रिया ने न केवल दोनों पक्षों के बीच लंबे समय से चल रहे कलह को समाप्त किया, बल्कि दोनों परिवारों में सामाजिक शांति और आर्थिक सुरक्षा का नया मार्ग भी प्रशस्त किया।
तृतीय मामला-
करीब 92 वर्षिय महिला के बेटे उसका भरण-पोषण एवं देखभाल नही कर रहे थे, महिला ने अपने बेटों के विरूद्ध भरण-पोषण हेतु वाद संस्थित किया था। मामला लोक अदालत के समक्ष आने पर, समझाईश उपरांत महिला के बेटे भरण-पोषण के जिए राजी हुये।मंदसौर द्वारा आयोजित नेशनल लोक अदालत में कुल 1831 प्रकरणों का निराकरण कर 7,36,15,033/- रूपये के अवार्ड पारित किया गया।
राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली एवं म.प्र. राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जबलपुर द्वारा प्रसारित निर्देशानुसार व माननीय कार्यवाहक प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश/अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर श्री सिद्धार्थ तिवारी के कुशल मार्गदर्शन में दिनांक 13 सितम्बर, 2025, शनिवार को नेशनल लोक अदालत का आयोजन जिला न्यायालय मंदसौर एवं तहसील न्यायालय गरोठ, भानपुरा, नारायणगढ़, सीतामऊ में किया गया।
जिला न्यायालय परिसर स्थित ए.डी.आर. सेंटर भवन के सभागृह में माननीय प्रभारी प्रधान जिला न्यायाधीश श्री सिद्धाथर््ेा तिवारी द्वारा माँ सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्जवलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। शुभारंभ कार्यक्रम में माननीय प्रभारी प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश एवं अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर श्री सिद्धार्थ तिवारी, प्रधान न्यायाधीश कुटुम्ब न्यायाल श्रीमती प्रिया शर्मा, न्यायमूर्ति श्री जी.डी. सक्सेना (सेवानिवृत्त), सेवानिवृत्त जिला न्यायाधीश श्री रघुवीर सिंह चुण्डावत, जिला अभिभाषक संघ के अध्यक्ष श्री रघुवीर सिंह पंवार ने सम्बोधित कर अपने विचार व्यक्त किये। शुभारंभ कार्यक्रम में आभार जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, मंदसौर के सचिव श्री सुधीर सिंह निगवाल द्वारा व्यक्त किया गया, तथा संचालन जिला विधिक सहायता अधिकारी अपर्णा लोधी द्वारा किया गया।
उक्त कार्यक्रम में माननीय उच्च न्यायालय मध्यप्रदेश के जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश श्री आसिफ अब्दुल्लाह, श्रीमती शिल्पा तिवारी, श्री विवेक बुखारिया, श्रीमती मंजू सिंह, श्री आलोक प्रताप सिंह, श्री मुनेन्द्र सिंह वर्मा, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट श्री अतुल बिल्लोरे, न्यायाधीशगण श्रीमती रोहिणी तिवारी, श्री राजकुमार त्रिपाठी, श्री चिराग अरोरा, श्रीमती प्राची पाण्डेय माटा, डाॅ श्रीमती रूचि पटेरिया अरोरा, सुश्री श्वेता सिंह, सुश्री पूर्वी गुप्ता, श्री काशिष माटा, अधिवक्ता संघ के पदाधिकारी एवं अधिवक्तागण, न्यायिक कर्मचारीगण, विभिन्न बैंक, बीमा कम्पनियां, विद्युत विभाग एवं विभिन्न विभागों के अधिकारीगण, खण्डपीठ सदस्यगण इत्यादि उपस्थित रहे।
दिनांक 13 सितम्बर, 2025 की नेशनल लोक अदालत के सफल आयोजन हेतु जिले में कुल 25 न्यायिक खण्डपीठों का गठन किया गया। कार्यक्रम के शुभारंभ के पश्चात नेशनल लोक अदालत की कार्यवाही गठित खंडपीठों में शाम तक चली, जिसमें राजीनामे के माध्यम से 1831 प्रकरणों का निराकरण किया गया।
उक्त लोक अदालत में कोर्ट में लंबित 1207 मामले निराकरण के लिए रखे गए थे जिसमें से कुल 1047 प्रकरणों का निराकरण किया गया, जिसमें कुल 6,53,97,375/-का अवार्ड पारित किया गया। इसी प्रकार कुल 7124 प्रीलिटिगेशन के रखे प्रकरण में से 784 प्रकरणों का निराकरण किया गया जिसमें 82,17,658/- राशि की वसूली की गई। मोटर दुर्घटना क्षतिपूर्ति दावा के 22 प्रकरण निराकृत किए गए, जिसमें कुल राशि 91,26,032/- का अवार्ड पारित किया गया। इस लोक अदालत में धारा 138 के अंतर्गत चैक बाउंस के 363 प्रकरण निराकृत किए गए जिसमें कुल राशि रू. 4,59,74,000/- का अवार्ड पारित किया गया। कुल 225 आपराधिक शमनीय मामलें एवं कुल 140 पारिवारिक विवादों का निराकरण भी किया गया। इस नेशनल लोक अदालत के माध्यम से प्रकार कुल 3305 व्यक्ति लाभान्वित हुये।
नेशनल लोक अदालत में कुछ विशेष मामलों का निराकरण भी हुआ। लोक अदालत में विभिन्न् पारिवारिक विवादों का भी समाधान हुआ, जिसके अन्तर्गत 13 मामलों में विवाद के चलते अलग रह रहे पति-पत्नी, समझाईश उपरांत एक साथ घर गए।
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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने चंबल नदी में बोटिंग की एवं बाइक बोट की सवारी कर प्राकृतिक सौंदर्य का लिया आनंद
मंदसौर 13 सितम्बर 25/ मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने आज चंबल नदी के अद्भुत और आकर्षक प्राकृतिक नजारे का अनुभव करते हुए बोटिंग की। बोट में बैठकर उन्होंने नदी की मनोहारी छटा को निहारा और इस मनमोहक सफर का आनंद लिया। मुख्यमंत्री के साथ सांसद श्री सुधीर गुप्ता, गरोठ विधायक श्री चंदर सिंह सिसोदिया, कमिश्नर श्री आशीष सिंह, आईजी श्री उमेश जोगा, कलेक्टर श्रीमती अदिती गर्ग, पुलिस अधीक्षक श्री विनोद कुमार मीणा सहित अन्य जन, अधिकारी, कर्मचारी ने बोट की सवारी की।
बोटिंग के बाद मुख्यमंत्री ने स्वयं अपने हाथों से नदी में बाइक बोट चलाई। पानी की लहरों पर बाइक बोट चलाते हुए मुख्यमंत्री अत्यंत प्रसन्नचित और उत्साहित नजर आए। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की गतिविधियाँ न केवल पर्यटन को बढ़ावा देंगी बल्कि प्रदेश की प्राकृतिक धरोहरों को देखने-समझने का नया अवसर भी प्रदान करेंगी।
इसके उपरांत मुख्यमंत्री डॉ. यादव सफारी जीप में बैठकर एयर बलून स्थल की ओर रवाना हुए। रास्ते में उन्होंने सफारी जीप से टेंट सिटी का भी अवलोकन किया और यहां की पर्यटन सुविधाओं एवं आकर्षक व्यवस्थाओं की जानकारी ली।
इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में पर्यटन को नई पहचान दिलाने के लिए सरकार निरंतर कार्य कर रही है। चंबल नदी क्षेत्र में विकसित हो रही पर्यटन गतिविधियाँ न केवल स्थानीय स्तर पर रोजगार सृजित करेंगी बल्कि देश-विदेश से आने वाले पर्यटकों के लिए भी विशेष आकर्षण का केंद्र बनेंगी।
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मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने चम्बल नदी में क्रूज़ की सवारी की और गीत गुनगुनाए
मंदसौर 12 सितम्बर 25/ मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शुक्रवार की शाम को चम्बल नदी की अद्भुत और मनमोहक छटा का अनुभव करते हुए क्रूज़ की सवारी की। इस दौरान मुख्यमंत्री ने गीत भी गुनगुनाए तथा क्रूज़ में बज रहे गीतों का आनंद लेकर सभी के बीच एक आत्मीय माहौल बना दिया।
चम्बल नदी की निर्मल धाराओं पर आगे बढ़ते हुए मुख्यमंत्री ने प्रकृति की गोद में कुछ समय बिताया। हरियाली से आच्छादित नदी किनारे, घने वृक्षों की श्रृंखलाएँ और पक्षियों का कलरव एक अलौकिक वातावरण प्रस्तुत कर रहे थे। कभी लहरों की मधुर ध्वनि तो कभी ठंडी हवाओं का स्पर्श—इन सबने इस यात्रा को और भी रोमांचक और आनंददायी बना दिया।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इस अवसर पर कहा कि चम्बल का यह नैसर्गिक सौंदर्य प्रदेश के पर्यटन को नई पहचान देगा। यहाँ की स्वच्छ जलधारा और प्राकृतिक वातावरण न केवल पर्यटकों को आकर्षित करेगा, बल्कि प्रकृति प्रेमियों को भी आत्मिक सुकून प्रदान करेगा।
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