प्राचीन रामेश्वर महादेव का सप्त पवित्र नदियों के जल से जलाभिषेक और शिवमहापुराण कथा

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कथा आयोजन को लेकर भूमि पूजन के साथ तैयारीयां हुई प्रारंभ
सीतामऊ। पवित्र सावन मास में नगर पहली बार शिवमहापुराण कथा होने जा रही है। कथा को लेकर तैयारियां प्रारंभ हो गई हैं। तालाब समीप श्री रामेश्वर हनुमानजी मंदिर धाम के समीप ही शिवमहापुराण कथा आयोजन को लेकर भूमि पूजन के साथ पुरानी गौशाला परिसर की साफ-सफाई के साथ ही कथा पांडाल के लिए डोम तैयार किया जा रहा हैं। समिती द्वारा नगर में जगह-जगह बैनर व पोस्टर लगाए जा रहे हैं। समिति नगर के प्रत्येक मोहल्ले में जाकर निमंत्रण दे रही है। कथा की पूणाहुति 17 जुलाई को होगी। प्रतिदिन शिवमहापुराण कथा के साथ महारुद्राभिषेक होगा। इसमें शुद्ध घी से अग्निहोत्र करके सवा लाख महामृत्युंजय महामंत्र के जप के साथ 7 पवित्र नदियों के जल से शुद्ध व सिद्ध करके जनमानस को निःशुल्क 11 हजार रुद्राक्ष वितरित किए जाएंगे।
समिति पदाधिकारियों ने बताया कि भागवत भास्कर डॉ.मिथिलेश नागर नैनोरा धाम के मुखारबिंद से दिनांक 11 जुलाई से 17 जुलाई तक सप्त दिवसीय श्री शिवमहापुराण कथा होगी। 11 को सुबह 9 बजे नगर की आराध्य देवी मयूर वाहिनी मोड़ी माता जी मंदिर से कलश व कावड़ यात्रा निकलेगी। कथा आयोजन समिति के संरक्षक नगर परिषद अध्यक्ष मनोज शुक्ला ने पत्रकारों कि बैठक में बताया कि श्री रामेश्वर महादेव मंदिर का निर्माण राहु काल में हुआ था। यहा श्रीराम, लक्ष्मण व माता जानकी की प्रतिमा के सामने श्री रामेश्वर महादेव जी का शिवलिंग स्थापित है व उनके सामने बालाजी महाराज विराजमान है। ऐसी मान्यता है कि यह एकमात्र ऐसा मंदिर है।17 जुलाई को कथा पूणाहुति उपरांत महाआरती व महाप्रसादी वितरित की जाएगी। नगर में होने वाली शिव महापुराण कथा को लेकर नागरिकों ने कथा स्थल पर भूमिपूजन व शुद्धिकरण किया। कथा के व्यापक प्रचार-प्रसार व्यवस्था को लेकर रविवार को बैठक भी हुई। इसमें सभी को अलग-अलग जिम्मेदारियां दी गई।