भोपालमध्यप्रदेश

सीएम डॉ. मोहन यादव कैबिनेट का फैसला-17 धार्मिक शहरों में शराबबंदी, मंत्री कर सकेंगे तबादले

सीएम डॉ. मोहन यादव कैबिनेट का फैसला-17 धार्मिक शहरों में शराबबंदी, मंत्री कर सकेंगे तबादले

मध्यप्रदेश के 17 धार्मिक नगरों की 47 शराब दुकानें पूरी तरह बंद की जाएंगी। इन दुकानों को कहीं शिफ्ट भी नहीं किया जाएगा। एक अप्रैल से ये फैसला लागू होगा। महेश्वर में शुक्रवार को हुई कैबिनेट बैठक इसका फैसला लिया गया। सीएम डॉ. मोहन यादव ने खुद प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसकी जानकारी दी। मोहन सरकार के इस फैसले से शराब दुकानों से मिलने वाला राजस्व करीब 450 करोड़ रुपए कम हो जाएगा।

17 धार्मिक नगरों में उज्जैन नगर निगम, दतिया, पन्ना, मंडला, मुलताई, मंदसौर, मैहर के अलावा ओंकारेश्वर, महेश्वर, ओरछा, चित्रकूट और अमरकंटक के नगर परिषद क्षेत्र शामिल हैं।

ग्राम पंचायत स्तर पर सलकनपुर माता मंदिर, बरमान कला, बर्मन खुर्द, कुंडलपुर और बांदकपुर में पांच किलोमीटर के दायरे में शराबबंदी की मौजूदा नीति जारी रहेगी। सीएम ने कहा कि विशेष परिस्थिति में मंत्री अपने विभागों में ट्रांसफर कर सकेंगे। इसके साथ ही नारी सशक्तिकरण मिशन को भी कैबिनेट ने लक्ष्यों के साथ मंजूरी दी है।

कैबिनेट बैठक में लिए गए ये फैसले

मंत्री कर सकेंगे ट्रांसफर, पॉलिसी बाद में आएगी सीएम ने कहा- मंत्री विशेष परिस्थिति में ट्रांसफर कर सकेंगे। विधिवत ट्रांसफर पॉलिसी बाद में आएगी, लेकिन विस्तारित रूप में ट्रांसफर करने के पहले मंत्री इसके पहले विभाग के स्तर पर इसमें फैसला ले सकेंगे।

महू के अंबेडकर विश्वविद्यालय के लिए 25 करोड़ रुपए सीएम डॉ. मोहन यादव ने कहा कि अंबेडकर विश्वविद्यालय महू को विधि संकाय के लिए 25 करोड़ रुपए कैबिनेट ने मंजूर किए हैं। भाजपा सरकार में महू को तीर्थ स्थल के रूप में विकसित किया है। विधि संकाय के साथ एक्सीलेंस सेंटर के रूप में भी इसे विकसित करने का फैसला किया है।

कैबिनेट ने ये फैसले भी लिए!

सुरक्षित प्रसव के लिए खराब कनेक्टिविटी वाले क्षेत्रों में रहने वाली गर्भवती महिलाओं के लिए प्रतीक्षालय भी खोलेगी। प्रसव पूर्व परामर्श और संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देगी।

व्यावसायिक प्रशिक्षण केंद्रों और ई-लर्निंग प्लेटफार्मों का विस्तार होगा और पॉलिटेक्निक संस्थानों में महिला सीटें बढ़ाई जाएंगी।

स्कूल शिक्षा विभाग प्राथमिक और माध्यमिक स्कूल के छात्रों के लिए लिंग संवेदनशीलता और सकारात्मक पुरुषत्व के संबंध में पाठ्यक्रम में भी बदलाव करेगा।

10 साल की स्कूली शिक्षा प्राप्त बेटियों के प्रतिशत में मौजूदा 29.3% से 5 प्रतिशत अंक सुधार पर फोकस किया जाएगा।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
site-below-footer-wrap[data-section="section-below-footer-builder"] { margin-bottom: 40px;}