सांसारिक इच्छाओं का त्याग कर भगवान की कृपा प्राप्त की जा सकती है – स्वामी आनन्दस्वरूपानंदजी सरस्वती
केशव सत्संग भवन में मनाया राधाष्टमी पर्व
मंदसौर। श्री केशव सत्संग भवन खानपुरा मंदसौर पर दिव्य चातुर्मास पूज्यपाद 1008 स्वामी आनन्दस्वरूपानंदजी सरस्वती ऋषिकेश के सानिध्य में चल रहा है। स्वामी जी द्वारा प्रतिदिन प्रात: 8.30 से 10 बजे तक श्रीमद् भागवद् महापुराण के एकादश स्कन्द का का वाचन किया जा रहा है।
बुधवार को राधाष्टमी का पर्व केशव सत्संग भवन में मनाया गया। इस अवसर पर स्वामी जी ने राधारानी के बारे में बताया और कहा कि वे समूचे सनातन धर्म के अनुनायियों के लिए पूज्यनीय है। राधाष्टमी का पर्व मनाने के बाद धर्मसभा में स्वामी श्री आनन्द स्वरूपानंदजी सरस्वती ने कहा कि भगवान को प्राप्त करने के लिए सांसारिक इच्छाओं को त्यागना ही पड़ेगा। आप सोचों की संसार में भी रहूं यहां की सुख सुविधाआं का उपभोग करू और भगवान को भी प्राप्त कर लू तो यह संभव नहीं है। भगवान को प्राप्त करना है उनकी कृपा को प्राप्त करना है तो संसार की मोह को त्याग कर अपने आप को प्रभु को समर्पित करना ही पडेगा। आपने बताया कि शास्त्रों में लिखा हैं कि जिन्होने भी भगवान को प्राप्त करने के लिए संसार को छोडा है उन्हें भगवान की कृपा अवश्य प्राप्त होती है। आपने बताया कि भगवान जो भी करते है वह अपनी भलाई के लिए ही करते है। इसलिए जीवन में जो भी हो रहा हो उसे प्रभु इच्छा मानकर स्वीकार करना चाहिए।
कार्यक्रम के अंत में भगवान की आरती उतारी गई एवं राधाष्टमी के अवसर पर विशेष प्रसाद वितरित किया गया। इस अवसर पर बडी संख्या में महिलाएं पुरूष उपस्थित थे।