युवक का मोबाइल जब्त कर सीएम हेल्पलाइन में फोन कर वापस ली शिकायत, जिले के एसपी 26 जून को होंगे कोर्ट में पेश
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हाई कोर्ट ने पूछा एसपी जबलपुर आकर बताएं दोषी पुलिस अधिकारियों पर क्या कार्रवाई की ?
जबलपुर। हाई कोर्ट ने पुलिस महकमे के उस रवैये पर कड़ी नाराजगी जाहिर की जिसमें याचिकाकर्ता का जबरन मोबाइल जब्त कर उसके फोन से सीएम हेल्पलाइन की शिकायत वापस ले ली गई। न्यायमूर्ति विवेक अग्रवाल की एकलपीठ ने नरसिंहपुर के पुलिस अधीक्षक को 26 जून को व्यक्तिगत रूप से हाजिर होकर हाई कोर्ट को यह बताने के लिए कहा है कि दोषी पुलिस कर्मियों के विरुद्ध क्या कार्रवाई की गई?
सीएम हेल्पलाइन में की थी कार्यप्रणाली की शिकायत
उल्लेखनीय है कि नरसिंहपुर निवासी अभिषेक राय ने याचिकाकर्ता ने सीएम हेल्पलाइन में नरसिंहपुर पुलिस की कार्यप्रणाली की शिकायत की थी। आरोप है कि तत्कालीन थाना प्रभारी अमित कुमार डांगी ने अवैधानिक तरीके से अपने पद का दुरुपयोग करते हुए याचिकाकर्ता मोबाइल जब्त किया और खुद अभिषेक के नाम से उसके ही मोबाइल से सीएम हेल्पलाइन में फोन कर शिकायत बंद करवा दी।
इंस्पेक्टर एवं एक अन्य आरक्षक को किया निलंबित
सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से कोर्ट को बताया गया कि मामले में इंस्पेक्टर एवं एक अन्य आरक्षक को निलंबित किया गया है और विभागीय जांच जारी है। इस पर याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता विशाल बघेल व दीपक तिवारी ने बताया कि निलंबन के सिर्फ दो हफ्ते बाद ही उक्त पुलिस अधिकारी को बहाल कर दिया गया था। निलंबन केवल औपचारिकता के लिए किया गया था।
फर्जीवाड़ा उजागर करने व आवास योजना के लिए अवैध लाभ का मामला
नरसिंहपुर निवासी अभिषेक राय ने याचिका दायर कर बताया कि उसने राधेश्याम व राकेश का फर्जीवाड़ा उजागर करने तथा उनसे आवास योजना के लिए अवैध लाभ लेने के मामले में कलेक्टर को शिकायत की थी। इस मामले में सीईओ ने दोनों के विरुद्ध रिकवरी भी निकाली थी। इस बात से क्षुब्ध होकर दोनों ने अभिषेक के खिलाफ दो झूठी एफआइआर दर्ज करवा दी। उन्होंने बताया िक याचिकाकर्ता एक मामले में रिपोर्ट लिखाने पुलिस थाने गया।
शासकीय राशि की वसूली से खिन्न
शासकीय राशि की वसूली करवाने से खिन्न होकर पुलिस से मिलीभगत कर दुर्भावनावश झूठे दो अपराधिक प्रकरण दर्ज करवाए गए थे जिसकी कोई जानकारी याचिकाकर्ता को नही थी। 21 जून को थाना कोतवाली पुलिस द्वारा याचिकाकर्ता को एक लंबित शिकायत में एफ आई आर दर्ज करने का आश्वासन देकर फोन कर बुलाया गया था याचिकाकर्ता जैसे ही थाने पहुंचा उसके मामले में शिकायत दर्ज कर उसे एफआईआर प्रदान की गई किन्तु उसके तुरंत बाद लगभग 3:30 बजे उसे उसके ऊपर दर्ज दो अन्य झूठे अपराध में गिरफ्तार कर लिया गया।
निराकरण से सहमति व संतुष्टि जता बंद कराया
इस घटनाक्रम के दौरान थाना कोतवाली पुलिस द्वारा उसका मोबाइल फोन जब्त कर उसके माध्यम से सीएम हेल्पलाइन 181 में फोन कर आवेदक की एक अन्य शिकायत को पुलिस द्वारा दर्ज निराकरण से सहमति व संतुष्टि व्यक्त करते हुए बंद करा दिया गया । जब याचिकाकर्ता ने अपना मोबाइल देखा तो उसका संपूर्ण डाटा डिलीट कर दिया गया था जिसमें उसके लंबित मामलों के साक्ष्य, काल रिकार्डिंग, वीडियो आदि मौजूद थे।